मुंबई। महाराष्ट्र अभी पूरी तरह से कोरोना महामारी की दूसरी लहर से उबरा भी नहीं कि एक और बुरी खबर आ गई है। महाराष्ट्र कोविड टास्क फोर्स ने चेतावनी दी है कि अगले दो से चार हफ्ते के भीतर पूरे राज्य में कोरोना की तीसरी लहर आ सकती है। बाजारों में पिछले तीन दिनों की भीड़ देखकर ऐसे संकेत मिल रहे हैं। हालांकि, इस लहर में बच्चे बहुत ज्यादा प्रभावित नहीं होंगे। अभी तक कोरोना से गरीब और निम्न मध्यम वर्गीय वर्ग कमोबेश बचा रहा था, लेकिन तीसरी लहर की मार सबसे ज्यादा इन्हीं लोगों पर पड़ सकती है।
बुधवार को मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे के साथ हुई समीक्षा बैठक में महाराष्ट्र कोविड टास्क फोर्स ने बताया कि तीसरी लहर में आने वाले मामलों की संख्या दूसरी लहर से दोगुनी होगी। अभी राज्य में 1.4 ऐक्टिव केस हैं जो बढ़कर आठ लाख तक हो सकते हैं। काेरोना की पहली लहर में 19 लाख केस सामने आए थे तो दूसरी लहर में 40 लाख मामले आए।
3.5 प्रतिशत से ज्यादा बच्चे नहीं होंगे प्रभावित: डॉ शशांक जोशी
टास्क फोर्स के सदस्य डॉ शशांक जोशी का कहना है कि यूनाइटेड किंगडम में कोरोना की दूसरी लहर के थमने के चार हफ्ते के अंदर ही तीसरी लहर आ गई थी। अगर हमने भी लापरवाही बरती तो उसी स्थिति में पहुंच जाएंगे। डॉ जोशी ने तीसरी लहर में बच्चों के ज्यादा प्रभावित होने की आंशका से इन्कार किया है। उनका कहना है कि पहली और दूसरी लहर की तरह इस बार भी कुल मरीजों में बच्चों की संख्या 3.5 प्रतिशत से ज्यादा नहीं रहेगी।
गौरतलब है कि मुंबई समेत पूरे महाराष्ट्र में कई चरणों में लॉकडाउन हटा दिया गया है। पाबंदियां हटने के बाद पहले की तरह ही बाजारों में लोगों की भीड़ नजर आने लगी है। उद्धव ठाकरे के साथ मीटिंग में मौजूद रहे एक वरिष्ठ अधिकारी का कहना है कि बाजारों में अनियंत्रिण भीड़ और कोविड प्रोटोकॉल के उल्लंघन की स्थितियां चिंतित करने वाली हैं। उन्होंने कहा कि अब तक इस संक्रमण से जो वर्ग अछूता रहा है, उसके इस बार चपेट में आने की आशंका है। गरीब और लोअर मिडिल क्लास के लोग इसमें शामिल हैं।
टास्क फोर्स ने सीरो सर्वे कराने पर दिया जोर
टास्क फोर्स के सदस्यों ने वैक्सीनेशन अभियान को तेजी के साथ चलाने का सुझाव दिया है। इस पर मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे ने बताया कि अगस्त सितंबर तक देश को करीब 42 करोड़ वैक्सीन मिलने जा रही है। इसमें से महाराष्ट्र को भी फायदा होगा। मीटिंग में मौजूद डॉक्टरों ने बड़े स्तर पर सीरो सर्वे कराए जाने की बात पर जोर दिया। इससे लोगों में कोविड एंटीबॉडीज का स्तर और टीकाकरण की जानकारी मिल सकेगी। सीएम ने पिछली लहरों से सीख लेने की बात पर जोर दिया। उन्होंने कहा कि पहली लहर में राज्य पर्याप्त सुविधाएं नहीं थी, लेकिन बाद में सुविधाएं विकसित होने के बाद हाल बेहतर हुए थे। दूसरी लहर ने हमें बहुत कुछ सिखाया।