लखनऊ। उत्तर प्रदेश में बेरोजगारी खत्म करने के लिए प्रतिबद्ध योगी सरकार ने प्रदेश के सरकारी विभागों में रिक्त पद भरने के लिए नई भर्तियों के प्रस्ताव को स्वीकृति दे दी है। ये पद लगभग 50 हजार के करीब हैं व इन पर नियुक्ति उत्तर प्रदेश अधीनस्थ सेवा चयन आयोग (यूपीएसएसएससी) द्वारा की जाएगी। इसके लिए आयोग द्विस्तरीय परीक्षा प्रणाली के तहत प्रारंभिक अर्हता परीक्षा (पीईटी) कराएगा।
विभिन्न सरकारी विभागों के इन रिक्त पदों को भरने के लिए की जा रही तैयारी के बाबत प्रदेश अधीनस्थ सेवा चयन आयोग के अधिकारियों का कहना है कि तमाम विभागों के रिक्त पदों को भरने के लिए आयोग की योजना तैयार हो गई है। साथ ही प्रदेश सरकार को भी इस संबंध में जानकारी दे दी गई है। जिसके बाद सीएम मे इन सीटों को पारदर्शिता के साथ भरने का आदेश दिया है।
बता दें कि आयोग ने पिछले दिनों इस संबंध में परीक्षा प्रणाली का खाका तैयार करके उसी प्रेजेंटेशन सीएम योगी के समक्ष पेश की थी। उसके बाद अब आयोग ने सरकारी विभागों के रिक्त पदों को भरने के लिए आयोग द्विस्तरीय परीक्षा प्रणाली के तहत प्रारम्भिक अर्हता परीक्षा (पीईटी) कराने की तैयारी शुरु की है।
इस परीक्षा में सफल होने वालों को शॉर्ट लिस्ट किया जाएगा। फिर उन्हें मेन्स में बैठने का मौका मिलेगा। जब परीक्षार्थी उसमें भी सफल हो जाएगा तो अभ्यर्थी को नियुक्ति पत्र दिया जाएगा।
जानकारी के अनुसार, परिवार कल्याण विभाग में महिला स्वास्थ्य कार्यकर्ता के 9212 पदों, राजस्व परिषद में राजस्व लेखपाल के 7882 पदों, कृषि निदेशालय में प्राविधिक सहायक-ग्रुप -सी के 1817 पदों, राजस्व परिषद में कनिष्ठ सहायक के 1137 पदों, आंतरिक लेखा एवं लेखा परीक्षक विभाग में सहायक लेखाकार के 1068 पदों, गन्ना एवं चीनी विभाग में गन्ना पर्यवेक्षक के 874 पदों, चिकित्सा एवं स्वास्थ्य सेवा विभाग में प्रयोगशाला प्राविधिज्ञ के 700 पदों , वन विभाग में वन रक्षक के 694 पदों, प्रशिक्षण एवं सेवा योजना विभाग में अनुदेशक के 622 पदों और चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग में एक्सरे प्राविधिज्ञ के 456 पदों पर भर्ती करने के लिए कार्यवाही शुरु की गई है।
इस नियुक्ति प्रक्रिया में सबसे पहली परीक्षा दो घंटे की होगी। इसमें 100 प्रश्न पूछे जाएँगे। प्रत्येक गलत जवाब में नेगेटिव मार्किंग है। पहला रिजल्ट परसेंटाइल पर आएगा। इन पदों पर स्नातक किए छात्र को भी मौका मिलेगा और प्रोफेशनल कोर्सेज और इंटरमीडिएट समेत तकनीकी योग्यता रखने वालों को भी। इसके लिए आयोग अलग-अलग विभागों से आए भर्ती प्रस्तावों को योग्यता के आधार पर अलग करेगा। मुख्य परीक्षा में चयनित होने वाले अभ्यर्थियों की नियुक्तियां विभिन्न विभागों में की जाएँगी।