नई दिल्ली। भारत ने नौसेना (Indian Navy) के स्वदेशी स्टील्थ डिस्ट्रॉयर आईएनएस चेन्नई (Stealth Destroyer INS Chennai) से ब्रह्मोस सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल (BRAHMOS supersonic cruise missile) का सफलतापूर्वक परीक्षण कर दिया है. सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल परीक्षण के दौरान अरब सागर में एक लक्ष्य पर निशाना साधा गया. मिसाइल ने इस लक्ष्य को बेहद सटीकता से भेदा.
टाइमिंग बेहद अहम
उल्लेखनीय है कि परीक्षण की टाइमिंग को बेहद अहम माना जा रहा है. ऐसे समय में जब भारत और चीन के बीच सीमा विवाद गरम है उस समय भारत का यह मिसाइल परीक्षण चीन को कड़े संदेश के दौर पर माना जा रहा है. भारत अरुणाचल प्रदेश और लद्दाख में चीन से लगने वाली सीमाओं पर पहले ही ये ब्रह्मोस मिसाइल तैनात कर चुका है.
BrahMos as ‘prime strike weapon’ will ensure the warship’s invincibility by engaging naval surface targets at long ranges. https://t.co/DpbbxrB9FU
— ANI (@ANI) October 18, 2020
पहले इसकी रेंज 290 किलोमीटर थी बाद में 400 किलोमीटर से ज्यादा तक कर दी गई है. अनुमान के मुताबिक सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल 450 किलोमीटर से अधिक दूरी तक निशाने को तबाह कर सकती है.
भारत-रूस का संयुक्त उपक्रम
बता दें कि सुपरसोनिक ब्रह्मोस क्रूज मिसाइल को भारत और रूस के संयुक्त उपक्रम के तहत विकसित किया गया है. यह 400 किलोमीटर से ज्यादा दूरी तक टारगेट को भेद सकती है. रैमजेट सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल ब्रह्मोस को पनडुब्बी, युद्धपोत, लड़ाकू विमान और जमीन से भी लॉन्च किया जा सकता है.