सौरव गांगुली के आते ही सेलेक्शन मीटिंग में रवि शास्त्री की ‘नो एंट्री’

टीम इंडिया के पूर्व कप्तान सौरव गांगुली जल्द अपनी नई पारी शुरू करने जा रहे हैं. गांगुली भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) के नए अध्यक्ष के रूप में 23 अक्टूबर को कार्यभार संभालने वाले हैं. हालांकि इससे पहले गांगुली ने लोढ़ा कमेटी की सिफारिश के मद्देनजर साफ कर दिया है कि टीम इंडिया के कोच रवि शास्त्री अब सेलेक्शन कमिटी की बैठक में हिस्सा नहीं लेंगे.

बांग्लादेश सीरीज के लिए टीम इंडिया का सेलेक्शन 21 अक्टूबर को होना था, लेकिन इसके डेट में बदलाव किया गया है. अब टीम का चयन 24 अक्टूबर को होगा. वहीं, 23 अक्टूबर को सौरव गांगुली बीसीसीआई के अध्यक्ष पद की कुर्सी संभाल लेंगे. हालांकि वो सेलेक्शन कमेटी के बैठक में हिस्सा नहीं ले सकते हैं, ऐसे में वो बैठक से पहले सेलेक्शन कमेटी के सदस्यों से बातचीत कर सकते हैं.

घरेलू क्रिकेट ना खेलने पर देना होगा जवाब

टीम के चयन के दौरान सिलेक्शन कमेटी के सदस्य, कप्तान विराट कोहली और बोर्ड के सचिव मौजूद रहेंगे, लेकिन कोच रवि शास्त्री की नो एंट्री रहेगी. कयास लगाए जा रहे हैं कि सौरव गांगुली के आने से क्रिकेट में असमंजस की स्थिति साफ होगी. पिछले तीन-चार साल से घरेलू क्रिकेट ना खेलने पर कोई जवाबदेही नहीं थी , लेकिन शायद अब ऐसी करने पर हर खिलाड़ी को जवाब देना होगा.

टीम इंडिया के कोच रवि शास्त्री और बीसीसीआई के नए अध्यक्ष बनने जा रहे सौरव गांगुली के मतभेद की कहानी जगजाहिर है. 2017 चैंपियंस ट्रॉफी के दौरान कोच रहे अनिल कुंबले और कप्तान विराट कोहली के बीच हुए मतभेद के बाद कुंबले ने कोच पद से इस्तीफा दे दिया था. इसके बाद कोहली ने शास्त्री को कोच बनाने की मांग की थी, जिसके पक्ष में गांगुली नहीं थे. हालांकि सुप्रीम कोर्ट द्वारा गठित प्रशासकों की समिति और सचिन तेंदुलकर के कारण सौरव गांगुली को पीछे हटना पड़ा था. वैसे सौरव गांगुली कई मौके पर शास्त्री के खिलाफ मोर्चा खोल चुके हैं.

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