इंडियन प्रीमयर लीग (आईपीएल) में चेन्नई और दिल्ली के बीच होने वाला मुकाबले चेन्नई के लिए कठिन चुनौती थी. टीम अपना पिछला मैच कप्तान एमएस धोनी की गैर मौजूदगी में हार चुकी थी. उसके बल्लेबाजों पर वापसी की दबाव था. टीम पूरी तरह से कप्तान धोनी पर निर्भर हो जाने की आलोचना झेल रही थी. दिल्ली के खिलाफ सबसे अच्छी बात यही थी कि धोनी इस मैच में खेल रहे थे. मैच में जीत के बाद चेन्नई के लिए सबसे ज्यादा रन बनाने वाले बल्लेबाज सुरेश रैना ने कहा कि एम एस धोनी की मौजूदगी भर से विरोधी टीमों पर दबाव बन जाता है और धोनी के संन्यास लेने के बाद उनकी कमी पूरी करना मुश्किल होगा.
धोनी के बिना अच्छा नहीं खेल रही थी चेन्नई
धोनी ने इस सत्र में बीमार होने के कारण चेन्नई के लिये दो मैच नहीं खेले. मुंबई और हैदराबाद के खिलाफ दोनों मैचों में चेन्नई को पराजय झेलनी पड़ी थी. इन मैचों में धोनी की जगह सुरेश रैना ने कप्तानी की थी, लेकिन वे टीम के लिए बढ़िया प्रदर्शन नहीं कर सके थे. उनके अलावा बाकी बल्लेबाज भी बढ़िया बल्लेबाजी नहीं कर पा रहे थे. इस मैच में दिल्ली के खिलाफ धोनी ने 22 गेंद में नाबाद 44 रन बनाये जिसकी मदद से चेन्नई ने 80 रन से जीत दर्ज की. वहीं रैना ने इस मैच में 37 गेंदों पर 59 रनों की पारी खेली जिसमें उन्होंने 8 चौके और एक चौका लगाया.
धोनी की कप्तानी से ज्यादा बल्लेबाजी की टीम को जरूरत
इस मैच में सुरेश रैना चेन्नई के लिए सबसे ज्यादा 59 रनों की पारी खेली जो कि मैच का सर्वाधिक व्यक्तिगत स्कोर रहा. यह पूछने पर कि धोनी की गैर मौजूदगी में कप्तानी करना कितना मुश्किल था. रैना ने कहा, ‘‘धोनी को बतौर कप्तान खोना कोई मसला नहीं है लेकिन बतौर बल्लेबाज उनके नहीं होने से मुश्किल होती है. हैदराबाद और मुंबई के खिलाफ यही हुआ.’’ उन्होंने कहा, ‘‘वह क्रीज पर होते हैं तो विरोधी टीमें वैसे ही दबाव में आ जाती है. वह नहीं होते हैं तो फर्क हम सभी ने देखा.’’
धोनी के बाद रैना कप्तानी कर सकते हैं
उन्होंने संकेत दिये के धोनी के नहीं रहने पर वे कप्तानी की बागडोर संभाल सकते हैं. रैना ने कहा, ‘‘पिछले कुछ साल में बतौर बल्लेबाज और टीम मेंटर के रूप में उन्होंने शानदार प्रदर्शन किया है. उनके संन्यास लेने पर शायद मैं कप्तानी कर सकता हूं लेकिन जब तक वह चाहें चेन्नई के लिए खेलते रहेंगे. आप उन्हें और चेन्नई को जानते हैं.’’