वाराणसी से चुनाव लड़ने पर बोले पीएम मोदी, ‘ये निर्णय मैं नहीं करता, मैं हमेशा संगठन को समर्पित रहता हूं’

नई दिल्ली। लोकसभा चुनाव की तारीखों का एलान हो चुका है. ऐसे में संसदीय क्षेत्र पर बात होना स्वाभाविक है. एबीपी न्यूज को दिए एक्सक्लूसिव इंटरव्यू में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने संसदीय क्षेत्र वाराणसी, जिसे हम बनारस के नाम से भी जानते हैं पर खुलकर अपनी बात रखी. 2014 के चुनाव में वाराणसी की जनता ने बतौर सांसद नरेंद्र मोदी के सिर पर जीत का सहरा बांधा था.

सवाल :  ”आपने गुजरात के बाहर बनारस को ही क्यों चुना? बनारस में ऐसा क्या खास लगाव रहा आपका?

इस सवाल के जवाब में पीएम मोदी ने कहा, ”पहली बात तो ये है कि ये निर्णय मैं नहीं करता हूं. मेरे जीवन का कोई निर्णय मैंने कभी नहीं किया है. मैं हमेशा संगठन को समर्पित रहता हूं, संगठन जो तय करे वो मैं करता हूं. उस समय संगठन के लोगों को लगा कि मुझे बनारस जाकर चुनाव लड़ना चाहिए. पीएम ने आगे कहा कि डॉ. मुरली मनोहर जोशी जी ने वहां काफी अच्छा काम किया हुआ था. जोशी जी का आशीर्वाद था तो स्वाभाविक है कि पार्टी ने तय किया था. तो मैं चला गया था.

सवाल :  ”क्या अब आप बनारस से ही लड़ेंगे, दूसरी सीट से नहीं लड़ेंगे?

इस पर प्रतिक्रिया देते हुए नरेंद्र मोदी ने कहा, ”पार्टी ने मुझे वाराणसी से उम्मीदवार घोषित कर दिया है. मुझे नामांकन की तारीख भी पूछनी पड़ेगी. उस दिन मैं चला जाऊंगा.”

पीएम मोदी ने कहा, ”मोदी चुनाव जीते या हारे, ये निर्णय जनता का है. मोदी जब पहली बार बनारस में चुनाव लड़ने के लिए नामांकन भरने गया तो पब्लिक मीटिंग के लिए इजाजत मांगी थी लेकिन सरकार और इलेक्शन कमीशन ऐसा था कि मुझे इजाजत नहीं मिली. मेरे पब्लिक मीटिंग करने पर प्रतिबंध लगा दिया गया था. आप हैरान होंगे ये जानकर और देश की मीडिया ने ये चर्चा नहीं की.”

पीएम बोले, ”बनारस का लोकसभा चुनाव ऐसा था कि जिसमें मुझे एक भी पब्लिक मीटिंग नहीं करने दी गई. इतना ही नहीं जिस दिन मैं नामांकन भरने के लिए गया था तो उस जुलूस को सभा में बदलना था, उस पर भी आखिरी समय में रोक लगा दी गई. उसके बाद जुलूस हुआ और फिर मैं सीधा दफ्तर में चला गया और फॉर्म भरकर वापस आ गया. पूरे कैंपेन में मुझे एक पब्लिक मीटिंग नहीं करने दी गई लेकिन जनता ने जिता दिया.

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *