पिछले महीने वाराणसी की जिला अदालत ने ज्ञानवापी ढाँचे के व्यास जी तहखाना में पूजा का अधिकार हिंदुओं को दिया था। इस फैसले के बाद कर्नाटक के रामनगर में एक नया बखेड़ा शुरू हो गया है।
मीडिया रिपोर्टों के अनुसार फैसला सुनाने वाले जज को लेकर वकील चाँद पाशा ने आपत्तिजनक टिप्पणी की थी। पाशा प्रतिबंधित इस्लामी संगठन PFI की राजनीतिक विंग SDPI से भी जुड़ा हुआ है। उसकी टिप्पणी का विरोध करने वाले वकीलों पर SI तनवीर हुसैन द्वारा FIR करने के बाद इस मामले ने तूल पकड़ लिया है।
यह मामला एक अभद्र फेसबुक पोस्ट से जुड़ा हुआ है। रिपोर्टों के अनुसार SDPI से जुड़े वकील चाँद पाशा ने वाराणसी कोर्ट के जज के निर्णय पर प्रश्न उठाते हुए एक पोस्ट किया। उसने हिंदुओं को व्यास जी तहखाना में पूजा करने की अनुमति देने वाले जज को कथित तौर पर राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ का ‘जूता चाटने वाला’ बताया था।
इसको लेकर रामनगर के वकीलों ने चाँद पाशा के खिलाफ इजूर पुलिस थाने में शिकायत दर्ज करवाई। पाशा को जिले के अधिवक्ता संघ से निकाले जाने की माँग भी हुई। इसको लेकर जब मीटिंग बुलाई गई तो उसमें विवाद हो गया। आरोप है कि पाशा ने इस मीटिंग में खलल डाला।
वकीलों ने तनवीर पर पक्षपात करने का आरोप लगाया है। उन्होंने रामनगर में जिला कलेक्टर के दफ्तर के बाहर धरना देकर तनवीर को निलंबित किए जाने की माँग की है। इसको लेकर वकीलों ने रामनगर में रैली भी निकाली। वकीलों ने आरोप लगाया है कि स्थानीय प्रशासन उपमुख्यमंत्री डीके शिवकुमार और स्थानीय विधायक MA इकबाल हुसैन के दबाव में काम कर रहा है।
रामनगर की इस घटना पर अब राज्य में राजनीतिक पारा भी चढ़ गया है। भाजपा और जेडीएस ने राज्य की कॉन्ग्रेस सरकार पर पक्षपात का आरोप लगाते हुए प्रदर्शन कर रहे वकीलों का समर्थन किया है। कर्नाटक विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष और भाजपा विधायक आर अशोक ने आरोप लगाया है कि SI तनवीर हुसैन राष्ट्रविरोधी ताकतों को मदद दे रहा है। अशोक ने कहा कि चाँद पाशा लगातार ऐसे ही अभद्र बयान देता रहा है और उसके खिलाफ जिले में 12 शिकायतें दर्ज हैं।
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— R. Ashoka (ಆರ್. ಅಶೋಕ) (@RAshokaBJP) February 20, 2024
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष बीवाई विजयेन्द्र ने भी इस मामले पर राज्य की कॉन्ग्रेस सरकार पर निशाना साधा है। उन्होंने कहा कि राज्य की पुलिस को चाँद पाशा को गिरफ्तार करना चाहिए था, क्योंकि उसने न्यायपालिका पर अभद्र टिप्पणी की थी। उन्होंने कहा कि तनवीर हुसैन को ऊपर से किसी ताकत का समर्थन हासिल है, क्योंकि उसने एक राष्ट्र विरोधी के साथ खड़े होने का काम किया है। इसकी उन्होंने जाँच की माँग की है।
‘ದೇಶ ಭಕ್ತರ ಸೆರೆ – ವಿದ್ರೋಹಿಗಳ ಪೊರೆ’ ಎಂಬುದು ರಾಜ್ಯದಲ್ಲಿ ಆಡಳಿತ ನಡೆಸುತ್ತಿರುವ ಕಾಂಗ್ರೆಸ್ ನೀತಿಯಾಗಿದೆ.
ಜ್ಞಾನವ್ಯಾಪಿ ಮಸೀದಿ ಸಂಬಂಧ ತೀರ್ಪು ನೀಡಿದ ನ್ಯಾಯಾಧೀಶರ ಕುರಿತು ಅವಹೇಳನ
ಮಾಡಿ ನ್ಯಾಯಾಂಗ ಹಾಗೂ ಸವಿಂಧಾನವನ್ನು ಧಿಕ್ಕರಿಸಿದ ರಾಷ್ಟ್ರ ವಿಧ್ವಂಸಕ ಮನಸ್ಥಿತಿಯ ಮತೀಯವಾದಿ ವಿದ್ರೋಹಿಯನ್ನು ಸ್ವಯಂ ದೂರು ದಾಖಲಿಸಿಕೊಂಡು ರಾಮನಗರ…— Vijayendra Yediyurappa (@BYVijayendra) February 19, 2024
बताया जा रहा है कि चाँद पाशा को तो गिरफ्तार कर लिया गया है, लेकिन वकील अपनी माँग पर अड़े हैं। उनका कहना है कि इस मामले में तनवीर हुसैन ने सही आचरण नहीं दिखाया इसलिए उसे भी निलंबित किया जाना चाहिए। इसको लेकर आज (21 फरवरी 2024) बेंगलुरु में प्रदर्शन की भी चेतावनी दी है।