चंडीगढ़। सिद्धू के इसतीफे पर चल रहा सियासी ड्रामा आखिरकार खत्म हुआ । खबर आ रही है कि मुख्यमंत्री कैप्टन अमरिंदर सिंह ने नवजोत सिद्धू का इस्तीफा मंजूर कर ही लिया, उन्होने इस्तीफा राज्यपाल बदनौर को भी भेज दिया है । दो दिन से चल रही कशमकश के बाद सीएम अमरिंदर ने आखिरकार ने सिद्धू का इस्तीफा मंजूर कर ही लिया, हालांकि खबरें थीं कि उन्होनें सिद्धू को मनाने के लिए संदीप संधू को जिम्मेदारी सौंपी थी, लेकिन वो इसमें सफल नहीं हो सके।
14 जुलाई को दी इस्तीफे की खबर
आपको बता दें पंजाब सरकार में मंत्री रह चुके सिद्धू अपना विभाग बदले जाने से नाराज थे।उन्होने 14 जुलाई को खुलासा किया कि वो मंत्री पद से 10 जून को ही इस्तीफा दे चुके हैं और उन्होने इसे राहुल गांधी को भेजा है । इस्तीफे को लेकर सवाल उठे तो उन्होने 15 जुलाई को कैप्टन अमरिंदर को भी इस्तीफा भेज दिया । अमरिंदर सिंह ने दिल्ली में मीडिया से बात करते हुए कहा था कि वह चंडीगढ़ जाकर सिद्धू के इस्तीफे को पढ़ेंगे और उसके बाद ही उस पर कोई फैसला लेंगे । बताया जा रहा था कि मामले में प्रियंका गांधी ने भी हस्तक्षेप किया लेकिन आखिरकार कैप्टन ने उनका इस्तीफा स्वीकार कर ही लिया ।
नाराज हैं सिद्धू
दरअसल नवजोत सिंह सिद्धू 6 जून को सीएम द्वारा मंत्रिमंडल में फेरबदल किए जाने से नाराज चल रहे थे । उनसे स्थानीय निकाय और पर्यटन विभाग छीनकर ऊर्जा और नवीनीकरण ऊर्जा मंत्रालय दे दिया गया था । इसके दो दिन बाद मुख्यमंत्री ने राज्य में अहम योजनाओं की नियमित समीक्षा के लिए कुछ ग्रुप बनाए, लेकिन किसी भी ग्रुप में सिद्धू को जगह नहीं दी गई। सिद्धू विभाग बदलने से नाराज तो थे ही अपनी अनदेखी से और बिफर गए ।
9 जून को की थी आलाकमान से मुलाकात
नवजोत सिंह सिद्धू 9 जून को ही दिल्ली पहुंच गए थे और राहुल गांधी के साथ प्रियंका गांधी से मुलाकात करने की बात कही थी । तब खबरें आईं कि राहुल ने अहमद पटेल को कैप्टन और सिद्धू के बीच चल रहा विवाद सुलझाने की जिम्मेदारी दी है । सिद्धू ने इसके बाद अपना इस्तीफा दे दिया और बिना किसी को कुछ कहे पिक्चर से गायब हो गए । कुछ दिन बाद उनके वैष्णो देवी में होने की खबर आई, जहां से लौटकर उन्होने कहा कि वो इस्तीफा दे चुके हैं और नया मंत्रालय नहीं संभालना चाहते । बहरहाल सिद्धू का इस्तीफा मुख्यमंत्री ने स्वीकार कर लिया है और अब पंजाब कांग्रेस में उनका अगला कदम क्या होगा, ये देखने वाली बात होगी ।