टोक्यो पैरालंपिक में भारत के जैवलिन थ्रोअर्स का धमाकेदार प्रदर्शन जारी है. सुमित अंतिल ने भारत को इस प्रतियोगिता में तीसरा पदक दिलाया है. उन्होंने सोमवार को पुरुषों (एफ 64 वर्ग) के फाइनल मुकाबले में स्वर्ण पदक जीता है. सुमित की इस जीत के साथ ही भारत के मेडल की संख्या 7 हो गई है.
#SumitAntil is the Champion, World Record Holder, #Tokyo2020 #Paralympics ? #Gold Medallist #Javelin @ParaAthletics
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सुमित से पहले अवनि लखेरा ने शूटिंग में भारत को गोल्ड दिलाया. उन्होंने सोमवार को महिलाओं की आर-2 10 मीटर एयर राइफल स्टैंडिंग एसएच1 में पहला स्थान हासिल करके स्वर्ण पदक जीता.
सुमित ने इस मुकाबले में अपना ही रिकॉर्ड तोड़ा है. उन्होंने पहले प्रयास में 66.95 मीटर का थ्रो किया, जो वर्ल्ड रिकॉर्ड बना. इसके बाद दूसरे प्रयास में उन्होंने 68.08 मीटर भाला फेंककर अपना ही रिकॉर्ड तोड़ा. सुमित ने अपने प्रदर्शन में और सुधार किया और पांचवें प्रयास में 68.55 मीटर का थ्रो कर वर्ल्ड रिकॉर्ड बना दिया.
It's another #Gold for ??#Athletics: Sumit Antil wins Gold Medal in the Men's Javelin Throw F64 event with a throw of 68.55m!#TeamIndia | #Tokyo2020 | #Paralympics | #Praise4Para pic.twitter.com/Qcg4RuZhFO
— Doordarshan Sports (@ddsportschannel) August 30, 2021
देवेंद्र झाझरिया और सुंदर सिंह ने भी जीता पदक
इससे पहले सोमवार को ही देवेंद्र झाझरिया और सुंदर सिंह गुर्जर ने भी जैवलिन थ्रो में मेडल जीता. देवेंद्र ने रजत तो सुंदर सिंह ने कांस्य पदक पर कब्जा किया.
भारत के हाथ से निकला एक मेडल
भारत के चक्का फेंक (डिस्कस थ्रो) एथलीट विनोद कुमार ने सोमवार को टूर्नामेंट के पैनल द्वारा विकार के क्लालिफिकेशन निरीक्षण में ‘अयोग्य’ पाए जाने के बाद पैरालंपिक की पुरुषों की एफ52 स्पर्धा का कांस्य पदक गंवा दिया है. इसी के साथ भारत के हाथ से एक मेडल निकल गया है.
बता दें कि रविवार को विनोद कुमार ने कांस्य पदक जीता था. लेकिन उनके विकार के क्लालिफिकेशन पर विरोध जताया गया, जिसके बाद मेडल रोक दिया गया. बीएसएफ के 41 साल के जवान विनोद कुमार ने 19.91 मीटर के सर्वश्रेष्ठ थ्रो से तीसरा स्थान हासिल किया था.
Our athletes continue to shine at the #Paralympics! The nation is proud of Sumit Antil’s record-breaking performance in the Paralympics.
Congratulations Sumit for winning the prestigious Gold medal. Wishing you all the best for the future.— Narendra Modi (@narendramodi) August 30, 2021
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने सुमित को बधाई दी है. उन्होंने ट्वीट किया, ‘हमारे एथलीट पैरालंपिक में लगातार चमक रहे हैं! पैरालंपिक में सुमित अंतिल के रिकॉर्डतोड़ प्रदर्शन पर देश को गर्व है. सुमित को प्रतिष्ठित स्वर्ण पदक जीतने के लिए बधाई. भविष्य के लिए शुभकामनाएं.’
… अपने ही पिछले विश्व रिकॉर्ड को पांच बार बेहतर किया
हरियाणा के सोनीपत के 23 साल के सुमित ने अपने पांचवें प्रयास में 68.55 मीटर दूर तक भाला फेंका, जो दिन का सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन और एक नया विश्व रिकॉर्ड था. बल्कि उन्होंने 62.88 मीटर के अपने ही पिछले विश्व रिकॉर्ड को दिन में पांच बार बेहतर किया. हालांकि उनका अंतिम थ्रो ‘फाउल’ रहा. उनके थ्रो की सीरीज 66.95, 68.08, 65.27, 66.71, 68.55 और फाउल रही.
ऑस्ट्रेलिया के मिचाल बुरियन (66.29 मीटर) और श्रीलंका के डुलान कोडिथुवाक्कू (65.61 मीटर) ने क्रमश: रजत और कांस्य पदक जीते. भारत के ही संदीप चौधरी (62.20) चौथे स्थान पर रहे. एफ64 स्पर्धा में एक पैर कटा होने वाले एथलीट कृत्रिम अंग (पैर) के साथ खड़े होकर हिस्सा लेते हैं.
दुर्घटना से पहले पहलवान थे रामजस कॉलेज के छात्र सुमित
दिल्ली के रामजस कॉलेज के छात्र अंतिल दुर्घटना से पहले पहलवान थे. दुर्घटना के बाद उनके बाएं पैर को घुटने के नीचे से काटना पड़ा. उनके गांव के एक पैरा एथलीट ने 2018 में उन्हें इस खेल के बारे में बताया.
वह पटियाला में पांच मार्च को पटियाला में इंडियन ग्रां प्री सीरीज 3 में ओलंपिक चैम्पियन नीरज चोपड़ा के खिलाफ खेले थे, जिसमें वह 66.43 मीटर के सर्वश्रेष्ठ थ्रो के साथ सातवें स्थान पर रहे थे, जबकि चोपड़ा ने 88.07 मीटर के थ्रो से अपना राष्ट्रीय रिकॉर्ड तोड़ा था. अंतिल ने दुबई में 2019 विश्व चैम्पियनशिप में एफ64 भाला फेंक स्पर्धा में रजत पदक जीता था.
निशानेबाज अवनि लखेरा ने सुबह महिलाओं की 10 मीटर एयर राइफल स्टैंडिंग एसएच1 स्पर्धा का स्वर्ण पदक जीता था.