Pulwama Revenge: पुलवामा अटैक का बदला लेने के लिए भारतीय वायुसेना ने पाकिस्तान पर बेहद बड़ी कार्रवाई की है. वायुसेना ने एलओेसी को पार कर भारतीय वायुसेना के 10 मिराज विमानों ने जैश के ठिकानों को तबाह कर दिया है. जानकारी के मुताबिक भारतीय वायुसेना ने 1000 किलो बम गिराए. ताजा जानकारी के मुताबिक इस एयर स्ट्राइक में जैश के कश्मीरी ऑपरेशन के हेड मुफ्ती अजहर और मसूद अजहर के भाई इब्राहिम अजहर की भी मौत हो गई है. इससे पहले मसूद अजहर के साले के मारे जाने की खबर भी सामने आ चुकी है.
रिपोर्ट्स के मुताबिक इस एयर स्ट्राइक में 350 आतंकवादियों के मारे जाने की खबर है, जिनमें से 25 ट्रेनी बताए जा रहे हैं. एयर स्ट्राइक का पूरा प्लान खुद वायुसेना प्रमुख बीएस धनोआ ने बनाया था. इसके बाद सेना और वायुसेना ने एलओसी के आसपास हवाई सर्विलांस किया. इसके लिए ड्रोंस का इस्तेमाल किया गया. जिन कैंप को निशाना बनाया गया, उनकी पहचान 20-21 फरवरी के बीच ही कर ली गई थी. मुख्य हमले से पहले रिफ्यूलर टैंक ने ट्रालय उड़ान भरी थी. मुख्य हमले में वायुसेना ने लेजर गाइडेड बम का इस्तेमाल किया.
विश्वस्त सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक वायुसेना के पास मिराज लड़ाकू विमान की तीन स्क्वाड्रन हैं, जिनमें से दो का इस्तेमाल इस ऑपरशेन में किया गया. इन दोनों स्क्वाड्रन से 6-6 फाइजर जेट लिए गए. इसके साथ ही रिफ्यूलर टैंकर भी था, इसका मतलब है कि अगर रास्ते में किसी विमान का ईंधन खत्म हो जाता तो उसे हवा में ही भरा जा सकता था. इसके साथ ही एक एवेक्स विमान ने भी भटिंडा एयरवेस से उड़ान भरी, इसने उस इलाके की जांच की जहां से इन मिराज विमानों को जाना था.
इसने जांचा कि इस इलाके में कोई पाकिस्तानी जहाज को उड़ान नहीं भर रहा. बॉर्डर पर एलओसी पर नजर रखने के लिए हमले में ड्रोन का भी इस्तेमाल किया गया. इसके बाद 12 मिराज 2000 विमानों ने एलओसी क्रॉस की, इसके बाद पीओके क्रॉस कर खैबर पख्तूनख्वा तक पहुंचे. वहां पर मनसेना जिले के बालाकोट में जैश के सबसे पुराने कैंप पर हमला किया. इन विमानों ने लेजर गाइडेड बम का इस्तेमाल किया, इस दौरान 20-22 मिनट तक ऑपरेशन को किया.
पुलवामा अटैक में 40 जवानों के शहीद होने के बाद से ही भारत के बड़ी कार्रवाई करने का अंदेशा लगाया जा रहा था. बता दें कि पुलवामा हमले के बाद प्रधानमंत्री मोदी ने कहा था कि सेना को किसी भी तरह की कार्रवाई करने की पूरी छूट दी गई है.