इस मामले में गत 23 जुलाई को कोर्ट में पीड़िता की गवाही दर्ज की गई थी, जिसमें वह अपने बयान से पलट गई थी। वादिनी के बयान से पलटने के बाद जिला शासकीय अधिवक्ता मनोज त्रिपाठी ने गत 3 अगस्त को अर्जी देकर वादिनी से जिरह करने की मांग की थी। उसके बाद वादिनी कोर्ट में जिरह के लिए आने के बजाय मेयो मेडिकल सेंटर से जारी मेडिकल के आधार पर तारीख बढ़वा रही है।
विशेष न्यायाधीश ने कहा कि वादिनी ने कोर्ट में दिए अपने बयान में केवल आशीष कुमार शुक्ला द्वारा दुराचार करने की बात कही है जबकि अपने कलमबंद बयान में उसने गायत्री प्रजापति, पिंटू सिंह, चंद्रपाल, विकास वर्मा, अशोक तिवारी तथा रूपेश द्वारा भी दुराचार किए जाने की बात कही थी।
वादिनी ने रामकृष्ण होटल में उसके साथ बलात्कार होने का बयान कोर्ट में दिया जबकि कलमबंद बयान में घटनास्थल विधायक निवास गौतमपल्ली का भी बताया। वादिनी ने गायत्री प्रजापति, अशोक तिवारी व आशीष शुक्ला द्वारा उसकी नाबालिग बेटी से भी बलात्कार करने का बयान दिया था, जिसे बाद में बलात्कार का प्रयास कर दिया गया।