लखनऊ। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने गुरुवार (19 अगस्त 2021) को राज्य विधानसभा के मानसून सत्र के दौरान गरीबों के लिए बड़ा ऐलान किया। उन्होंने कहा कि माफिया के अवैध कब्जे से जिन जमीनों को छुड़ाया गया है, उन पर गरीबों और दलितों के लिए आवास का निर्माण किया जाएगा। यही सच्चा सामाजिक न्याय होगा। सीएम ने कहा कि माफियाओं और अपराधियों के बोझ को राज्य की भाजपा सरकार नहीं ढोएगी।
सदन में अनुपूरक बजट पर भाषण देते हुए मुख्यमंत्री ने विपक्ष पर निशाना साधते हुए कहा कि खतरनाक अपराधियों और माफियाओं को शरण देने वाले लोग आज महिला सुरक्षा की बात करते हैं, लेकिन वो लोग ये जान लें कि माफियाओं के साथ जो भी रहेगा, उसके पीछे हमारा बुल्डोजर रहेगा।
मुख्यमंत्री ने कहा, “परिस्थितियाँ अब बदल गई हैं। हमारी सरकार ने 1500 करोड़ रुपए की अवैध संपत्तियों की जब्ती ही नहीं की, बल्कि उन्हें ध्वस्त भी किया है। इन माफियाओं ने जिन जमीनों पर कब्जा किया हुआ था वो राज्य की संपत्ति थीं, गरीबों की संपत्ति थी। अब अवैध संपत्तियों को ध्वस्त करके गरीबों के लिए आवास बनाए जाएँगे।”
आज यूपी बदला है, अब माफियाओं को जो भी अपने साथ लेकर जाएगा, उसके पीछे पीछे हमारा बुलडोजर भी आएगा, हमने तय किया है कि यूपी के माफियाओं की अवैध जमीनों पर अब गरीबों के आवास बनेंगे !! pic.twitter.com/vvL39AasAB
— Shalabh Mani Tripathi (@shalabhmani) August 19, 2021
प्रदेश में सत्ता संभालने के तुरंत बाद योगी सरकार प्रदेश में भू-माफियाओं पर नकेल कसने लगी थी। कई भू-माफिया स्वयं राजनीतिक नेता हैं या किसी ना किसी राजनीतिक दल से जुड़े हुए हैं। रामपुर में सांसद आजम खान, मुख्तार अंसारी, विकास दुबे जैसे माफिया सरगनाओं, कई विधायकों और स्वयंभू धर्मगुरुओं द्वारा अवैध रूप से कब्जा की गई सैकड़ों एकड़ भूमि को सरकारी कब्जे में ले लिया गया है।
इसी साल 23 फरवरी 2021 को विधान परिषद के अपने संबोधन में सीएम योगी आदित्यनाथ ने बताया था कि उनकी सरकार ने 2017 में सत्ता में आने के बाद राज्य में 67,000 एकड़ से अधिक सरकारी भूमि को भू-माफिया के चंगुल से मुक्त कर दिया है।
तालिबान समर्थकों को भी लताड़ा
विधानसभा में सीएम योगी ने अपने भाषण के दौरान अफगानिस्तान में तालिबानी कब्जे का समर्थन करने वालों को जमकर लताड़ा। वहाँ तालिबान महिलाओं और बच्चों के साथ अमानवीय व्यवहार कर रहा है। फिर भी यहाँ कुछ लोग बेशर्मी से उसका समर्थन कर रहे हैं। ऐसे लोगों का असली चेहरा सामने लाने की जरूरत है।
कुछ लोग तालिबान का समर्थन कर रहे हैं। वहां महिलाओं और बच्चों के साथ क्या क्रूरता की जा रही है। परन्तु कुछ लोग बेशर्मी से तालिबान का समर्थन कर रहे हैं। इन सभी के चेहरे एक्सपोज किए जाने चाहिए: उत्तर प्रदेश CM योगी आदित्यनाथ pic.twitter.com/N0NNa8WXT8
— ANI_HindiNews (@AHindinews) August 19, 2021
गौरतलब है कि उत्तर प्रदेश के संभल से समाजवादी पार्टी के सांसद शफीकुर रहमान बर्क ने आतंकवादी संगठन को अपना समर्थन दिया था। मंगलवार, 17 अगस्त को सपा सांसद ने कट्टरपंथी इस्लामी संगठन को वैध बनाने की कोशिश की, क्योंकि उनका मत था कि तालिबानियों ने केवल उस जमीन पर कब्जा कर लिया है, जो मूल रूप से उनकी थी। उनके इस बयान के अगले दिन योगी आदित्यनाथ सरकार ने तालिबान को खुले समर्थन के लिए देशद्रोह, दुश्मनी को बढ़ावा देने और धार्मिक भावनाओं को आहत करने के आरोप में शफीकुर रहमान बर्क के खिलाफ केस दर्ज कर दिया।
योगी सरकार ने 7,301.52 करोड़ रुपए के अनुपूरक बजट की घोषणा की
राजकोषीय उत्तरदायित्व और बजट प्रबंधन अधिनियम के प्रावधानों के तहत राज्य सरकार ने राज्य के अतिरिक्त व्यय को पूरा करने के लिए 7,301.52 करोड़ रुपए के अनुपूरक बजट की घोषणा की है। इसमें से 3,000 करोड़ रुपए युवाओं को रोजगार से जोड़ने के लिए उन्हें डिजिटल रूप से सक्षम बनाने के लिए आवंटित किए गए हैं।
वकीलों के कल्याण के लिए भी फंड की व्यवस्था की गई है। जबकि, प्रयागराज में राष्ट्रीय विधि विश्वविद्यालय की स्थापना के लिए 5.01 करोड़ रुपए व बाबासाहेब भीमराव अंबेडकर के नाम पर एक स्मारक और सांस्कृतिक केंद्र के निर्माण के लिए धन आवंटित किया गया है।
राज्य सरकार ने जुलाई 2021 से सरकारी कर्मचारियों के महंगाई भत्ते को बढ़ाकर 28% (केंद्र के आदेश के अनुसार) कर दिया है। सरकार आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं / आंगनबाड़ी सहायिकाओं के मानदेय में वृद्धि करेगी। इसके अलावा, यूपी सरकार 3 हजार करोड़ रुपए की योजना के तहत एक करोड़ छात्रों का चयन करेगी। छात्रों को पढ़ाई के लिए टैबलेट या स्मार्टफोन दिए जाएँगे।
राज्य के वित्त मंत्री सुरेश खन्ना के अनुसार, उत्तर प्रदेश सरकार का ₹7301.52 करोड़ का अनुपूरक बजट ₹ 5.50 लाख करोड़ के वार्षिक बजट का केवल 1.33% है। उन्होंने गुरुवार 19 अगस्त 2021 को बजट पेश करने के बाद कहा, “युवाओं के लिए रोजगार के अवसर पैदा करने के साथ-साथ लोक कल्याणकारी योजनाओं, चल रही परियोजनाओं के लिए धन उपलब्ध कराने पर ध्यान केंद्रित किया जा रहा है।”