नई दिल्ली। गीतकार जावेद अख्तर ने दिल्ली पुलिस पर बड़ा आरोप लगाया है। उन्होंने कहा है कि पुलिस उन लोगों को चुन-चुन कर गिरफ्तार कर रही है, जिन्होंने सीएए और एनआरसी के खिलाफ शांतिपूर्ण प्रदर्शन किया था। उन्होंने कहा कि केंद्रीय गृह मंत्रालय के इशारों पर ऐसा किया जा रहा है। बता दें कि हाल ही में पुलिस ने दिल्ली में हुए हिन्दू-विरोधी दंगों की जाँच के दौरान इसके कई साजिशकर्ताओं को शिकंजे में लिया है।
जावेद अख्तर इससे पहले अंकित शर्मा की हत्या के लिए जिम्मेदार आम आदमी पार्टी के निलंबित पार्षद ताहिर हुसैन का भी बचाव कर चुके हैं। अबकी उन्होंने दिल्ली पुलिस की हालिया कार्रवाई को कोरोना वायरस से जोड़ते हुए आरोप लगाया कि गृह मंत्रालय की प्राथमिकताएँ अलग हैं। जावेद अख्तर ने ट्विटर पर लिखा:
“आज पूरा देश कोरोना वायरस संक्रमण से लड़ने में संघर्ष कर रहा है। मजदूरों के पलायन से लेकर भूखमरी और बेरोजगारी की समस्याएँ भी इसी के कारण मुँह फैला कर खड़ी हो गई है, जिसके खिलाफ़ पूरे देश की लड़ाई चल रही है। लेकिन, हमारा गृह मंत्रालय रोजाना उन लोगों को गिरफ्तार करने में लगा हुआ है, जिन्होंने सीएए के विरुद्ध प्रदर्शन किया था। उनकी प्राथमिकताएँ बाकी देश से अलग हैं। “
जावेद अख्तर के इस बेतुके सवाल को लेकर कई लोगों ने उन पर निशाना साधा। एक ट्विटर यूजर ने पूछा कि क्या भारत सरकार को एक वक़्त में एक ही काम करना चाहिए? जब कोरोना से लड़ रहे हों तब अपराधियों को बेख़ौफ़ छोड़ देना चाहिए? पत्रकार स्वातिगोयल शर्मा ने दिल्ली पुलिस को टैग कर पूछा कि क्या जावेद अख्तर सच बोल रहे हैं? क्योंकि पुलिस का तो कहना है कि दंगे में संलिप्त आरोपितों को गिरफ्तार किया जा रहा है।
हाल ही में जावेद अख्तर ने भारतीय रेलवे के श्रमिक ट्रेनों पर की गई घोषणा पर अपनी प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए कहा था कि रेलवे ऐसा कैसे कर सकती है जबकि घर जाना प्रवासियों का अधिकार है। जावेद का गुस्से से भरा हुआ ट्वीट भारतीय रेलवे की घोषणा से कहीं भी मेल नहीं खाता है। जावेद अख्तर ने ट्वीट में लिखा था– “30 जून तक ट्रेन नहीं चलाने का क्या मतलब है? प्रवासी मजदूर वापस अपने घर जाना चाहते हैं और वापस जाने का उन्हें पूरा अधिकार भी है।” लोगों ने उन्हें कड़ी डाँट पिलाई थी।