नई दिल्ली। जम्मू-कश्मीर पर हर किसी की नजर बनी हुई है. अतिरिक्त सुरक्षाबलों की तैनाती के साथ-साथ राजनीतिक हलचल भी बढ़ रही है. ऐसे में सरकार कश्मीर पर क्या बड़ा फैसला ले सकती है, इसपर भी हर किसी की नज़र है. कश्मीर में लगातार बदलते हालात के बीच राज्य की पूर्व मुख्यमंत्री और पीडीपी प्रमुख महबूबा मुफ्ती और एनसी नेता उमर अब्दुल्ला को श्रीनगर में नजरबंद किया गया है.
नजरबंद होने के बाद उमर अब्दुल्ला ने लोगों से शांति बनाए रखने की अपील की है. उन्होंने ट्वीट किया कि हिंसा से केवल उन लोगों के हाथों में खेलेंगे जो राज्य की भलाई नहीं चाहते. शांति के साथ रहें और ईश्वर आप सभी के साथ रहें.
वहीं नजरबंद होने से पहले भी दोनों नेताओं ने कई ट्वीट किए. महबूबा मुफ्ती ने कहा कि सुनने में आ रहा है कि जल्द ही इंटरनेट सेवा को बंद कर दिया जाएगा. कर्फ्यू पास भी जारी किए जा रहे हैं. अल्लाह जाने क्या होगा. यह एक लंबी रात होने जा रही है.
महबूबा मुफ्ती ने ट्वीट में लिखा कि ऐसे कठिन समय में, मैं अपने लोगों को यह विश्वास दिलाना चाहती हूं कि जो हो सकता है, हम इसमें एक साथ हों और इसका मुकाबला करेंगे. जो कुछ भी हमारा अधिकार है उसके प्रयास करने के लिए हमारे संकल्प को तोड़ा नहीं जा सकता. महबूबा मुफ्ती के इस ट्वीट को उमर अब्दुल्ला ने भी रिट्वीट किया है.
उमर अब्दुल्ला ने किया था नजरबंद होने का दावा
उमर अब्दुल्ला ने पहले ही नजरबंद होने का दावा कर दिया था. जिसके बाद उनके नजरबंद होने की चर्चा होने लगी थी. उमर अब्दुल्ला ने ट्वीट में लिखा कि मुझे लगता है कि मुझे आज (रविवार) आधी रात से नजरबंद कर दिया जाएगा और सभी राजनीतिक पार्टियों के नेताओं के लिए भी प्रक्रिया शुरू कर दी गई है. यह पता करने का कोई तरीका नहीं है कि क्या यह सच है.
उन्होंने लिखा कि कश्मीर के लोगों के लिए, हम नहीं जानते कि हमारे लिए क्या है, लेकिन मैं एक दृढ़ विश्वास रखता हूं कि सर्वशक्तिमान अल्लाह ने जो योजना बनाई है वह हमेशा बेहतर के लिए है, हमें कभी भी उसके तरीकों पर संदेह नहीं करना चाहिए. सभी को शुभकामनाएं, सुरक्षित और शांत रहें.
इससे पहले उन्होंने लिखा कि अगर राज्य सरकार के अधिकारियों की मानें तो मोबाइल इंटरनेट सेवा बंद कर दी गई है. एक अनौपचारिक कर्फ्यू शुरू होने जा रहा है और मुख्यधारा के नेताओं को हिरासत में लिया जा रहा है. किस पर विश्वास करें कुछ समझ नहीं आ रहा है.
फारूक अब्दुल्ला के घर पर हुई बैठक
श्रीनगर में पूर्व मुख्यमंत्री और नेशनल कॉन्फ्रेंस के नेता फारूक अब्दुल्ला घर पर सर्वदलीय बैठक हुई, जिसके बाद उन्होंने प्रेस को संबोधित किया. अब्दुल्ला ने कहा कि केंद्र सरकार के इस कदम से कश्मीर के लोग खौफ में हैं. अब से पहले कभी भी अमरनाथ यात्रा को रद्द नहीं किया गया. यह कश्मीर के लिए सबसे बुरा वक्त है. उन्होंने भारत और पाकिस्तान से अपील करते हुए कहा कि दोनों देश कोई ऐसा कदम न उठाएं, जिससे तनाव बढ़े.