लखनऊ। किसानों की जमीन कब्जाने के मामले में रामपुर से समाजावादी पार्टी के सांसद आजम खान की मुश्किलें दिन पर दिन बढ़ती जा रही हैं। जानकारी के मुताबिक उनके ऊपर पहले ही इस मामले से सम्बंधित 26 शिकायतें दर्ज हो चुकी थीं लेकिन अब खबर है कि सपा सांसद और उनके करीबियों पर फिर 8 नई शिकायतें दर्ज हुई है।
इस मामले के मद्देनजर रामपुर पुलिस ने बुधवार (जून 24, 2019) को जज के सामने उन किसानों के बयान भी दर्ज करवाए हैं जिनकी जमीनें जौहर यूनिवर्सिटी बनाने के लिए कब्जाई गई। इन पीड़ित किसानों के बयानों को आज (जुलाई 25, 2019) न्यायधीश के सामने दर्ज करवाया जाएगा।
वहीं, बता दें जमीन कब्जाने के इस मामले में पीड़ित किसानों में से कुछ किसानों के परिवारवालों ने बीते रविवार को राजभवन पहुँचकर राज्यपाल से न्याय की गुहार लगाई थी। जिसके बाद राज्यपाल राम नाईक ने भी उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ को पत्र लिखकर जौहर यूनिवर्सिटी का अधिग्रहण करने की बात कही।
उन्होंने अपने पत्र में उत्तर प्रदेश कॉन्ग्रेस कमेटी के अल्पसंख्यक विभाग के उपाध्यक्ष फैसल खान का जिक्र करते हुए कहा कि वे कई बार जौहर यूनिवर्सिटी में कई अनियमितताओं की शिकायत कर चुके हैं। इस मामले के मद्देनजर फैसल 8 जुलाई को राज्यपाल से भी मिले थे और उन्होंने राज्यपाल को एक ज्ञापन सौंपा था।
जिसमें उनका कहना था कि ‘यूनिवर्सिटी में 80 प्रतिशत जमीन सरकार और किसानों से कब्जाई गई है और 20 प्रतिशत जमीन चंदे के पैसे से खरीदी गई है। बावजूद इसके वहाँ बच्चों से मोटी फीस वसूली जाती है। जिसकी कमाई जौहर ट्रस्ट को जाती है और ये जौहर ट्रस्ट आजम खान के घर का निजी ट्रस्ट है।’
गौरतलब है कि फैसल लाला का ये भी कहना है कि जिस प्रकार एएमयू, जामिया और हैदराबाद यूनिवर्सिटी में मात्र 3 हजार में छात्र ग्रैजुएट और पचास हजार में इंजीनियर बन जाते हैं, ठीक उसकी प्रकार जौहर विश्वविद्यालय का अधिग्रहण कर लें तो अल्पसंख्यक समुदाय को इसका सीधा फायदा पहुँचेगा।